जाति प्रमाण पत्र के संबंध में सचिव छत्तीसगढ़ राज्य अनुसूचित जनजाति आयोग के द्वारा ग्राम पूंजीपथरा तहसील तमनार जिला रायगढ़ निवासी गंगा प्रसाद के नाम नोटिस जारी करते हुए 28 अप्रेल 22 को समस्त दस्तावेज मिसल बंदोबस्त एवं स्थाई जाति प्रमाण पत्र के साथ आयोग के समक्ष उपस्थित होने के निर्देश दिए गए थे। उक्त नोटिस से क्षुब्ध होकर याचिकाकर्ता गंगा प्रसाद द्वारा अपने अधिवक्ता आशुतोष मिश्रा के माध्यम से माननीय उच्च न्यायालय के समक्ष रिट याचिका दायर की गई थी , जिसमें छत्तीसगढ़ राज्य अनुसूचित जनजाति आयोग द्वारा जारी किए गए नोटिस को चुनौती दी गई । मामले की सुनवाई उच्च न्यायालय की एकल पीठ माननीय न्यायमूर्ति पार्थ प्रतिम साहू के समक्ष हुई जिसमें याचिकाकर्ता के अधिवक्ता आशुतोष मिश्रा द्वारा अपने तर्क में जनजाति आयोग अधिनियम के अंतर्गत दिए गए प्रावधानों का उल्लेख करते हुए उक्त नोटिस को आयोग द्वारा अपने अधिकारिता से बाहर जाकर जारी करना बताया। आयोग की ओर से पैरवी कर रहे अधिवक्ता द्वारा जारी नोटिस को सही ठहराते हुए अपने तर्क रखे दोनों पक्षों को सुनने के पश्चात माननीय उच्च न्यायालय द्वारा याचिकाकर्ता के विरुद्ध जारी नोटिस के क्रियान्वयन पर रोक लगाते हुए याचिकाकर्ता को राहत प्रदान की एवं शासन एवं आयोग को जवाब प्रस्तुत करने हेतु 3 हफ्तों का समय देकर प्रकरण को अगली सुनवाई हेतु नियत किया ।
जाति प्रमाण पत्र संबंध में अनुसूचित जनजाति आयोग से जारी नोटिस पर हाईकोर्ट ने लगाई रोक
Published On: April 27, 2022 10:34 pm